Mile ho tum Humko Lyrics


Mile ho tum Humko Lyrics

Mile ho tum Humko Lyrics

Mile ho tum Humko Lyrics in English

Mile ho tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai Maine
Kismat ki lakeeron se

Mile ho tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se

Teri mohabbat se saanse mili hai
Sada rehna dil mein kareeb hoke

Mile ho  tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se

Mile ho tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se

Teri chahaton mein kitna
 tadpe hain
Sawan bhi kitne tujhbin barse hain
Zindagi meri sari jo bhi kami thi
Tere aa jaane se ab nahi rahi
Sada hi rehna tum
Mere kareeb ho ke
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se

Mile ho tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se

Baahon Mein Teri Ab Yaaya Jannal Hai
Maangi lhuda Se Tu Wo Mannal Hai
Teri wafa ka Sahara Mila hai
Teri hi Wajah Se Ab Main Zinda Hoon 

Teri Mohabbat Se Zara Ameer Hoke
Churaya Hai Maine Kismat ki Lakeero Se

Mile ho tum humko
Bade naseebon se
Churaya hai maine
Kismat ki lakeeron se




Mile ho tum Humko Lyrics in Hindi

मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से
मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से

मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से
मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से

तेरी मोहब्बत से साँसें मिली हैं
सदा रहना दिल में क़रीब होके

मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से
मिले हो तुम हमको, बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से

तेरी चाहतों में कितना तड़पे हैं
सावन भी कितने तुझ बिन बरसे हैं
ज़िन्दगी में मेरी सारी जो भी कमी थी
तेरे आ जाने से अब नहीं रही

सदा ही रहना तुम मेरे करीब होके
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से
मिले हो तुम हमको बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से

बाँहों में तेरी अब यारा जन्नत है
माँगी खुदा से तू वो मन्नत है
तेरी वफ़ा का सहारा मिला है
तेरी ही वजह से अब मैं ज़िन्दा हूँ
तेरी मोहब्बत से ज़रा अमीर होके
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से

मिले हो तुम हमको बड़े नसीबों से
चुराया है मैंने क़िस्मत की लकीरों से



Post a Comment

0 Comments